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Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

महाशिवरात्रि के पर्व को हिंदू धर्म में विशेष माना जाता हैं यह पर्व भगवान शिव को समर्पित होता हैं दक्षिण भारतीय पंचांग के मुताबिक माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाता हैं इस दिन भगवान शिव के भक्त मंदिरों में शिवलिंग पर बेलपत्र आदि अर्पित कर पूजा व्रत
Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

महाशिवरात्रि के पर्व को हिंदू धर्म में विशेष माना जाता हैं यह पर्व भगवान शिव को समर्पित होता हैं दक्षिण भारतीय पंचांग के मुताबिक माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जाता हैं इस दिन भगवान शिव के भक्त मंदिरों में शिवलिंग पर बेलपत्र आदि अर्पित कर पूजा व्रत और रात्रि जागरण करते हैं Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधिमान्यताओं के मुताबिक महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव की विधि विधान से पूजा करने वालों के सभी दुख दूर हो जाते हैं इस साल महाशिवरात्रि 11 मार्च 2021 को मनाई जाएगी। तो आज हम आपको महाशिवरात्रि की पूजा विधि मुहूर्त और महत्व बताने जा रहे हैं तो आइए जानते हैं।Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

जानिए शुभ मुहूर्त—
नि​शीथ काल पूजा मुहूर्त— :24:06:41 से 24:55:14 तक।
महाशिवरात्रि पारणा मुहूर्त— 06:36:06 से 15:04:32 तक।Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

जानिए पूजन विधि—

मिट्टी या तांबे के लोटे में पानी या दूध भरकर बेलपत्र, आक धतूरे के पुष्प, चावल आदि जल में मिलाकर डाले और भगवान शिव की शिवलिंग पर अर्पित करें। Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधिमहाशिवरात्रि के दिन शिवपुराण का पाठ और महामृत्युंजय मंत्र या शिव के पंचाक्षर मंत्र ॐ नमः शिवाय का जाप करना चाहिए साथ ही महािशवरात्रि के दिन रात्रि जागरण भी करना जरूरी होता हैं शास्त्र अनुसार महाशिवरात्रि का पूजा निशीथ काल में करना उत्तम होता हैं। भक्त अपनी सुविधा अनुसार भी भगवान शिव की पूजा कर सकते हैं।Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

आपको बता दें महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव की पूजा अर्चना करने से सभी कार्य पूर्ण होते हैं जीवन में चल रही परेशानियों का अंत हो जाता हैं आर्थिक मजबूती बनी रहती हैं इस दिन वैवाहित महिलाएं अगर विधि विधान से पूजा करती हैं तो उनके सौभाग्य में वृद्धि होती हैं और कुंवारी कन्याओं को भी इस दिन शिव और मां पार्वती की पूजा जरूर करनी चाहिए। ऐसा करने से ​सुयोग्य वर की प्राप्ति होती हैं।Mahashivratri vrat: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त, महत्व और पूजा विधि

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