Samachar Nama
×

Bihar Daughter: माँ के लिए एम्बुलेंस नहीं मिली तो कंधे पर लादकर अस्पताल पहुंची

रिश्ते इंसान से हर वो काम करवा सकते है जो शायद यूँ नामुमकिन लगे। बिहार के गोपालगंज के सुरवाल गांव की रहने वाली उमरावती ने इस बात को सच साबित कर दिया है. दरअसल, 11 जून की शाम को उमरावती अपनी बूढ़ी और बीमार मां को अपनी पीठ पर बिठाकर इलाज के लिए सुरवाल गांव
Bihar Daughter: माँ के लिए एम्बुलेंस नहीं मिली तो कंधे पर लादकर अस्पताल पहुंची

रिश्ते इंसान से हर वो काम करवा सकते है जो शायद यूँ नामुमकिन लगे। बिहार के गोपालगंज के सुरवाल गांव की रहने वाली उमरावती ने इस बात को सच साबित कर दिया है. दरअसल, 11 जून की शाम को उमरावती अपनी बूढ़ी और बीमार मां को अपनी पीठ पर बिठाकर इलाज के लिए सुरवाल गांव से तीन किलोमीटर चलकर बरौली प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पहुँचाया।Bihar Daughter: माँ के लिए एम्बुलेंस नहीं मिली तो कंधे पर लादकर अस्पताल पहुंची

इस बेटी को अपनी मां का इलाज कराने के लिए काफी कष्ट सहना पड़ा। वहीं दूसरी ओर स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही भी उजागर हुई। यदि उन्हें एंबुलेंस की सुविधा मिल जाती तो लोगों को परेशानी नहीं होती। हद तो तब हो गई जब डॉक्टर ने इलाज कर मां को बेटी के हवाले ही छोड़ दिया। जिसके बाद उमरावती को फिर से अपनी मां को अपनी पीठ पर बिठाकर अपने गांव पहुंचने के लिए तीन किलोमीटर का सफर तय करना पड़ा। उमरावती मदद मांग रही थी। लेकिन जब उसे कोई सहारा नहीं मिला तो वह अपनी मां को पीठ पर बिठाकर चली गई। इस बेटी का हौसला आज चर्चा में है।Bihar Daughter: माँ के लिए एम्बुलेंस नहीं मिली तो कंधे पर लादकर अस्पताल पहुंची

बीमार मां को पीठ पर बिठाकर पैदल घर लौट रही उमरावती ने कहा कि उसके पिता साधु बिंद कुछ साल पहले दुनिया छोड़कर चले गए थे। उसका कोई भाई भी नहीं है। घर में कोई पुरुष सदस्य नहीं हैं। इसलिए वह अपनी मां की देखभाल के लिए मां के घर में रहती है। परिवार में कोई कमाने वाला सदस्य नहीं है। इस वजह से उसे आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ रहा है।

Share this story