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सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

सैंडविच जेनरेशन 40 साल से 70 साल के लोगों की ऐसी जेनरेशन होती है जो नौकरीपेशा होने के साथ-साथ अपने बच्चों और बूढ़े माता-पिता की भी देखभाल करती है। ऐसे लोग अपनी नौकरी, बच्चों और बूढ़े माता-पिता की जिम्मेदारियां संभालते हुए बैलेंस बनाने की कोशिश करते हैं और कई बार इसी बैलेंस के चक्कर में दबाव में आ जाते हैं। इसके कारण वह टेंशन, तनाव और चिड़चिड़ाहट का शिकार हो जाते हैं।
सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

जयपुर । आज कल का जो माहौल और जो जनरेशन हो चली है उनके सामने पुराने समय से कई ज्यादा चुनौतियों का सामना करना पड़ता है । उनको हर किसी का सोचना पड़ता है और खुद की खुशियों के लिए भी सोचना पड़ता है । पर यही ही सा करते करते उनको कई बार  कुछ बहुत ही गंभीर परेशानियों का सामना करना पड़ता है ।सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

क्या है सैंडविच जनरेशन ?

सैंडविच जेनरेशन 40 साल से 70 साल के लोगों की ऐसी जेनरेशन होती है जो नौकरीपेशा होने के साथ-साथ अपने बच्चों और बूढ़े माता-पिता की भी देखभाल करती है। ऐसे लोग अपनी नौकरी, बच्चों और बूढ़े माता-पिता की जिम्मेदारियां संभालते हुए बैलेंस बनाने की कोशिश करते हैं और कई बार इसी बैलेंस के चक्कर में दबाव में आ जाते हैं। इसके कारण वह टेंशन, तनाव और चिड़चिड़ाहट का शिकार हो जाते हैं। इसी जेनरेशन को सैंडविच जेनरेशन कहा जाता है।

सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ
Family of father and child on African safari vacation enjoying bush view

एक बुजुर्ग व्यक्ति बच्चे के समान होता है और इसलिए उसे अतिरिक्त देखभाल और प्यार की जरूरत होती है और सैंडविच जेनरेशन के लोगों के बीच यही सबसे बड़ा चैलेंज होता है। आप न तो नौकरी छोड़कर घर बैठ सकते हो और न ही बुजुर्ग मां-बाप की अनदेखी कर सकते हो। उन्हें भी आपके प्यार और साथ की जरूरत है। वह भी सोचते हैं कि जैसे हमने अपने बच्चों का ख्याल रखा वैसे ही बच्चे भी उनके बुढ़ापे की लाठी बनें।सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

एक प्रिवेसी को लेकर भी सबसे बड़ा चैलेंज होता है। जॉइंट फैमिली में आपको अपने लिए टाइम निकालना मुश्किल हो जाता है और न ही प्रिवेसी मिलती है।सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

सैंडविच जेनरेशन 40 साल से 70 साल के लोगों की ऐसी जेनरेशन होती है जो नौकरीपेशा होने के साथ-साथ अपने बच्चों और बूढ़े माता-पिता की भी देखभाल करती है। ऐसे लोग अपनी नौकरी, बच्चों और बूढ़े माता-पिता की जिम्मेदारियां संभालते हुए बैलेंस बनाने की कोशिश करते हैं और कई बार इसी बैलेंस के चक्कर में दबाव में आ जाते हैं। इसके कारण वह टेंशन, तनाव और चिड़चिड़ाहट का शिकार हो जाते हैं। सैंडविच जनरेशन करे सामने होती है ज़िंदगी के साथ और भी कई चुनौतियाँ

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