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व्यवसाय के गुर सीखाने में माहिर है ये बॉलीवुड फिल्में

बॉलीवुड के गलियारो में हर साल हजारों फिल्में बनती है आज हम बात कर रहे है उन फिल्मों के बारे में जो कि व्यवसाय से जुड़ी है और एक बिजनेसमैन पर खास तौर पर आधारित है ये फिल्में है रॉकेट सिंह, लगान, बदमाश कंपनी, स्वदेश, स्पेशल26, गुरु,कॉरपोरेट,बाजार,बैंड बाजा बारातस3 इडियट्स।
व्यवसाय के गुर सीखाने में माहिर है ये बॉलीवुड फिल्में

बॉलीवुड के गलियारो में हर साल हजारों फिल्में रिलीज होती है।जिसमें हर तरह के विषय को तर्ज पर रखा जाता है आज हम बात कर रहे है बॉलीवुड की उन फिल्मों के बारे में जो कि उद्यमी के लिए खास तौर पर तैयार की गई है।जी हां इन फिल्मों में व्यवसाय के बारे में पुख्ता तौर पर बताया गया है।अपना बिजनेस शुरु करना और उसे तरक्की पर पहुंचाना तो हर किसी का सपना होता है ऐसे में इस सपने की शुरुआत और इसमें क्या-क्या कदम उटाने चाहिए ये फिल्में हमें उसी दिशा में ले जाती है।जिसमें एक सामान्य व्यक्ति जो कभी आर्थिक तंगी,कभी साधनों तो कभी आईडिये की कमी से जूझ रहा होता है ये फिल्में उन्हें सोचने और समझने के प्रति साहस देती है और आगे बढ़ने के कुछ महत्वपूर्ण तरीके भी तो आइए बात करते है इन फिल्मों के बारे मेः

व्यवसाय के गुर सीखाने में माहिर है ये बॉलीवुड फिल्में

गुरु-बॉलीवुड एक्टर अभिषेक बच्चन की शानदार फिल्मों में से एक ये फिल्म उस व्यक्ति के जीवन का शानदार रुप दर्शाती है जिसने रिलायंस साम्राज्य की शुरुआत धीरूभाई अंबानी से की थी।फिल्म में भारत के सबसे बड़े उघोगपति धीरुभाई अंबानी के सबसे दुखी समय को सबसे सुखी समय में बदलने की कहानी दर्शायी गई है।फिल्म को मणिरत्नम से डायरेक्ट किया था जिसमें अभिषेक के साथ ही ऐश्वर्या राय बच्चन  भी मुख्य भूमिका में नजर आई थी इस फिल्म में साफ तौर पर दिखाया गया है कि 1950 के दशक में उद्यमशीलता का क्या मतलब था और लोग इसे कैसे अपने जीवन में उतारते थे।खास बात ये है कि ये फिल्म बॉलीवुड की सबसे बड़ी व्यवसायिक फिल्म मानी जाती है।

बदमाश कंपनी-बॉलीवुड की ये फिल्म चार युवा दोस्तों के इर्द-गिर्द घूमती है, जो कॉलेज से ग्रेजुएट होते हैं और एक साथ व्यवसाय शुरू करते हैं।लेकिन इस दौरान वो गैर कानूनी तरीके से अपना बिजनेस शुरु करते है जिसमें वो बहुत जल्द अमीर बनने की कोशिशें करते है ऐसे में वो महंगे विदेशी सामानों की तस्करी और उन पर आयात शुल्क से बचाने का खास तौर पर काम करते है।हालांकि ये तो हर किसी को पता है एक गैर कानूनी धंधा ना सिर्फ आपका आज बल्कि आपके भविष्य को भी खराब करने के लिए तैयार किया जाता है।ऐसे में काफी अमीर होने के बाद अपने सभी शौक पूरे करने के बाद इन दोस्तों का धंधा धीरे-धीरे ठप्प होने लगता है और बाद में सभी पुलिस की चपेट में आते है।ये फिल्म हमें खास तौर पर ये संदेश देती है कि व्यवसाय भले ही छोटा हो लेकिन सही ठंग और कानूनी तरीके से सफल होना चाहिए जिसमें चीटिंग की कोई गुंजाईश नहीं है।फिल्म में शाहिद कपूर और अनुष्का शर्मा मुख्य किरदार में नजर आए थे।

बाजार- बॉलीवुड के एक्टर सैफ अली खान स्टारर ये फिल्म बाज़ार इस पर आधारित है कि दलाल स्ट्रीट कैसे काम करता है और बंद पर्दे के पीछे क्या होता है।अकसर एक  बिजनेस में किसी कार्यकारी के चीटिंग करने की खबरें सामने आती रहती है जो कि एक व्यवसाय में बहुत बड़ी हानी होती है ये फिल्म भी उसी का परिणाम देती है।जिसमें रोहन मेहरा ने अपना डेब्यू किया था।जो बिजनेस के प्रति काफी उत्तेजित होते है लेकिन इसे गैर कानूनी तरीके से पूरा करने की कोशिशें करते है।काफी कोशिशों के बाद वो सफल होकर भी एक हार को स्वीकार करते है।फिल्म पूरी तरह से एक बिजनेसमैन पर आधारित है।

बैंड बाजा बारात- मनीष शर्मा के डायरेक्शन में बनी इस फिल्म में अनुष्का शर्मा और रणवीर सिंह साथ में मिलकर वेडिंग प्लानर का बिजनेस शुर करते है।जो कि बहुत ही छोटे स्तर पर शुरु होता है ऐसे में दोनों अपने बिजनेस को शुरु करने के लिए सिर्फ कुछ खास चीजों का ख्याल रखते है वो है ग्राहकों को जानना, व्यवसाय की नैतिकता, बड़े सपने देखना, प्रतिस्पर्धा के बारे में परेशान न करना और विक्रेताओं के साथ व्यवहार करना, कुछ अन्य महत्वपूर्ण सबक हैं जो उद्यमी इस फिल्म से सीख सकते हैं।फिल्म में दोनों कलाकार बहुत कम समय में अपने बिजनेस को टॉप पर लाने में सफल होते है जिनकी कहानी हर एक व्यवसायी को सीखने के लिए मजबूर करती है।

3 इडियट्स- राजकुमारर हिरानी के डायरेक्शन में तैयार हुई ये फिल्म उन लोगों पर साफ तौर पर सवाल करती है जो अपने बच्चो को जबरदस्ती किसी फील्ड की ओर धकेलने के लिए मजबूर करती है।फिल्म में इंजीनियर स्टूडेंट्स् और क़ॉलेज की कहानी दिखाई गई है।जो कभी विघार्थियों के खिलाफ काम करती है तो वही इच्छुक विघार्थी को उसके सपने पूरा करने से रोकती है।फिल्म में हर तरह का सार देखा गया है।जो कि अकसर रीयल जिंदगी में देखने को मिलता है।ये फिल्म हमें सीखाती है कि हर व्यक्ति को उसकी समझ और उसकी इच्छानुसार काम करना चाहिए फिर चाहे वो बिजनेस हो या फिर शौक।भविष्य में आगे बढ़ने के लिए व्यक्ति का उसके काम से प्यार होना अति आवश्यक है।जो उसे हर एक मुश्किल सीढ़ी पार करने में मदद करता है।फिल्म इसके अलावा दोस्तों की एकजुटता और अपने सपनों को साकार करने का भी एक संदेश देती है।

रॉकेट सिंह- इस फिल्म में रणबीर सिंह ने मुख्य किरदार प्ले किया हो जो कि सिर्फ 39% अंक प्राप्त करने के बाद, हरप्रीत सिंह, जो अपने दादा के साथ रहता है, AYS कंप्यूटर्स में सेल्समैन के रूप में कार्यरत हो जाता है।फिल्म में अभिनेता का किरदार अपने काम से इतना खुश नहीं होता है जो कि उसे कुछ बड़ा करने की ओर अग्रसर करती है ये फिल्म हमें सीखाती है कि सबसे प्रेरक नेता सबसे विनम्र होते हैं, और सबसे असामान्य परिस्थितियों में पैदा होते हैं।कुछ नया करने की भूख में ये किरदार फिर ‘रॉकेट सेल्स कॉर्पोरेशन’ से अपनी कंपनी शुरु करता है जिसका भविष्य भले ही उसे ना पता हो लेकिन वो इसमें कार्यरत होता  और अपने लिए टीम भी तैयार करता है।एक व्यवसाय के तौर पर सबसे महत्वपूर्ण सबक जो फिल्म सिखाती है, वह यह है कि सफलता अकादमिक उत्कृष्टता से निर्धारित नहीं होती है। इसके लिए जोखिम के लिए नायक की भूख, उसकी टीम के लिए सही लोगों को लेने की क्षमता, और अपने ग्राहकों के लिए उसका मूल्य प्रेरणादायक होना बहुत ही आवश्यक है। इसके अलावा फिल्म व्यवसाय में होने वाली असफलताओं के लिए हमें तैयार करती है।जो कि हर एक कदम पर काम करती है।

लगान- अंग्रेज़ों के शासन काल जब भारतीय को हर एक पल पीड़ा से जुझना पड़ रहा था ये फिल्म इसी को दर्शाती है।इस बीच में अंग्रेजो के लोकप्रिय खेल क्रिक्रेट को खेला जाता है जिसमें एक तरफ मंझे हुए खिलाड़ी और दूसरी तरफ धर्म, जाति पर बंटे हुए गांव के साधारण लोग जिन्हें अपने साथ ही पूरे गांव का भविष्य़ बनाने के लिए खेलना पड़ता है।ऐसे में खेल ना आने पर भी कैसे वो क्रिक्रेट में बाजी मारते है वाकई में देखने लायक है जो कि पुख्त तौर पर ये सिखाता है व्यवसाय हो या खेल हमेशा से ही  एकजुट होकर संघर्ष करते रहने की जीत होती है इस फिल्म में भी कुछ ऐसा ही दिखाया गया है।फिल्म को आशुतोष गोवारिकर ने डायरेक्ट किया था।

स्वदेश– इस फिल्म में भारत के सबसे बड़े पहलू गरीबी को दरकिनार किया गया है।जिसमें शाहरुख खान ने मुख्य भूमिका निभाई है।जो की नासा में बतौर वैज्ञानिक नौकरी करते है।जो अपनी पढ़ाई-लिखाई के लिए विदेश जाता है और जब गांव आता है तो देखते है उनका गांव आज भी सालों  बाद बिजली की समस्या से जूझ रहा है ऐसे में वो अपनी पढ़ाई को कही और नहीं बल्कि अपने गांव में रोखनी लाने के लिए करता है।इस बीच में शाहरुख खान का किरदार फिल्म में बगल के नहर से बिजली का उत्पादन करता है जो कि वाकई में अपने व्यवसाय के साथ एक नया उदमिय है।इस फिल्म को आशुतोष गोवारिकर ने डायरेक्ट किया था।

बॉलीवुड के गलियारो में हर साल हजारों फिल्में बनती है आज हम बात कर रहे है उन फिल्मों के बारे में जो कि व्यवसाय से जुड़ी है और एक बिजनेसमैन पर खास तौर पर आधारित है ये फिल्में है रॉकेट सिंह, लगान, बदमाश कंपनी, स्वदेश, स्पेशल26, गुरु,कॉरपोरेट,बाजार,बैंड बाजा बारातस3 इडियट्स। व्यवसाय के गुर सीखाने में माहिर है ये बॉलीवुड फिल्में

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