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इंसान ने बनाया इंसानी कृत्रिम जटिल संरचनाओं का दिमाग

जयपुर। इंसान ने बुहत कुछ बना दिया है। आसमाल को खंखाल लिया है धरती को खंखाल लिया है ब्रह्मांड को खंखाल ही रही है और साथ ही अपने शरीर की जटिल कई संरचनाये खंखाल रहा है। और इसकी नकल करने की कोशिश भी कर रहा है। वैसे इसने कई तरह से प्रकृति की नकल कि
इंसान ने बनाया इंसानी कृत्रिम जटिल संरचनाओं का दिमाग

जयपुर। इंसान ने बुहत कुछ बना दिया है। आसमाल को खंखाल लिया है धरती को खंखाल लिया  है ब्रह्मांड को खंखाल ही रही है और साथ ही अपने शरीर की जटिल कई संरचनाये खंखाल रहा है। और इसकी  नकल करने की कोशिश भी कर रहा है। वैसे इसने कई तरह से प्रकृति की नकल कि है जैसे एक यान इसकी नकल एक पक्षी से कि है। ऐसे ही अब वह अपने ही शरीर की नकल कर रहा है। इसने नकल से शरीर के कई अंग बनाये है। जैसे लीवर, हाथ-पैर, बाल, नाखून, आँख, औऱ अब बारी सबसे कठीन संरचना की वो हैइंसान ने बनाया इंसानी कृत्रिम जटिल संरचनाओं का दिमाग

मस्तिष्क यह हमारे शरीर में सबसे जटिल संरचना है। और सबसे नाजूक भी है। जैसा की हम जानते है की इस पूरी कायनात में सबसे समझदार जीव इंसान को माना जाता है। तो अपनी समझदारी की इस्तेमाल करके वह अपने मस्तिष्क का आविष्कार कर रहा है और लेब में उसने यह काम करके भी दिखा दिया है। इसने कृत्रिम दिमाग बनाने में सफलता हासिल कर ली है। इस कृत्रिम दिमाग के निर्माण के बाद इसने कई संभावनाओं को जन्म दिया हैं। शोधकर्ताओँ का कहना है की इस अद्भुत दिमाग की मदद से कई दिमागी बीमारियों का इलाज खोज में मदद मिल पायेगी। इस दिमाग इस्तेमाल की गई तकनीक को पूर्णतया गुप्त रखा गया है,इंसान ने बनाया इंसानी कृत्रिम जटिल संरचनाओं का दिमाग

ताकि कोई इसका गलत फायदा ना कर पाये। आपको जानकर हैरानी होगी की इस कृत्रिम मस्तिष्क में 99 प्रतिशत जीन और कोशिकाएं एक इंसानी दिमाग की तरह ही काम करती हैं। वैज्ञानीकों के अनुसार यह मस्तिष्क चार हफ्ते के एक भ्रूण के मस्तिष्क जितना विकसित हो चुका है। इसे वैज्ञानीकों ने एक वयस्क त्वचा की कोशिकाओं से बनाया है। इससे लाइलाज बीमारियों का इलाज ढूंढने में भी आसानी होगी। यह एक क्रांती है कृत्रिम शरीर के लिए और इसमें इंसान सफलता हासि कर रहा है।इंसान ने बनाया इंसानी कृत्रिम जटिल संरचनाओं का दिमाग

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