Samachar Nama
×

उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

जिस मनुष्य के मसतक पर छोटा सा चांद बना होता हैं उस व्यक्ति पर ईश्वर की विशेष्ज्ञ कृपा होती हैं, ऐसे पुरुष उच्च स्तर के संयासी, उपदेशक और योगी होते हैं। वही किसी मनुष्य के ललाट मे सवच्छ, सरल, पूर्ण रेखा होने से वह मनुष्य सुखी और दीर्घायु होता हैं, छिन्न—भिन्न रेखा से दुखी और अल्पायु माना जाता हैं, ललाट में उर्ध्वाकार रेखा, त्रिशूल और स्वास्तिक आदि के बने होने से धन, पुत्र और स्त्री युक्त होकर मनुष्य सुखमय जीवन व्यतीत करता हैं।
उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

आपको बता दें, कि सामुद्रिक शास्त्र भी भारतीय ज्योतिष का प्रमुख हिस्सा माना जाता हैं, वही इसमें मनुष्य के शरीर के विभिन्न अंगों की संरचना से मनुष्य के जीवन की भविष्यवाणी की जाती हैं माथा भी इसका एक भाग होता हैं वही अमूमन आम बोलचाल में चौड़े माथे को अच्छे भाग्य का कारण माना जाता हैं वही ज्योतिष के मुताबिक आज हम आपको बताने जा रहे हैं की माथे का आकार आपके भविष्य के बारे में क्या कहता हैं।उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

वही जिस मनुष्य के मसतक पर छोटा सा चांद बना होता हैं उस व्यक्ति पर ईश्वर की विशेष्ज्ञ कृपा होती हैं, ऐसे पुरुष उच्च स्तर के संयासी, उपदेशक और योगी होते हैं। वही किसी मनुष्य के ललाट मे सवच्छ, सरल, पूर्ण रेखा होने से वह मनुष्य सुखी और दीर्घायु होता हैं, छिन्न—​भिन्न रेखा से दुखी और अल्पायु माना जाता हैं, ललाट में उर्ध्‍वाकार रेखा, त्रिशूल और स्वास्तिक आदि के बने होने से धन, पुत्र और स्त्री युक्त होकर मनुष्य सुखमय जीवन व्यतीत करता हैं।उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

वही जिस पुरुष का मस्तक चौड़ा होता हैं, तो वह मनुष्य एकाधिक पुत्रों वाला होता हैं, परन्तु काम धन्धे को लेकर परेशान रहता हैं। वही इनकी संतान भाग्यशाली होती हैं। वही जिसके मस्तक पर रेखा नहीं होती हैं वह पुरूष धनी व दीर्घायु होता हैं जिनका ललाट गहरा हो वह पुरुष अपराध करने से भी पीछे नहीं हटता हैं। जिस मनुष्य का माथा उपर उठा हो और नीचे से झुका हो, वह मनुष्य एकाधिक स्त्रियों से विवाह करने वाला होता हैं, ऐसे पुरूष अधिक शिक्षा प्राप्त करके उच्च मुकाम हासिल कर लेते हैं इनका स्वास्थ्य बहुत अच्छा नहीं होता हैं। उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

जिस मनुष्य के मसतक पर छोटा सा चांद बना होता हैं उस व्यक्ति पर ईश्वर की विशेष्ज्ञ कृपा होती हैं, ऐसे पुरुष उच्च स्तर के संयासी, उपदेशक और योगी होते हैं। वही किसी मनुष्य के ललाट मे सवच्छ, सरल, पूर्ण रेखा होने से वह मनुष्य सुखी और दीर्घायु होता हैं, छिन्न—​भिन्न रेखा से दुखी और अल्पायु माना जाता हैं, ललाट में उर्ध्‍वाकार रेखा, त्रिशूल और स्वास्तिक आदि के बने होने से धन, पुत्र और स्त्री युक्त होकर मनुष्य सुखमय जीवन व्यतीत करता हैं। उच्च स्तर के सन्यासी होते हैं ऐसे लोग

Share this story