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कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

कार्तिक मास में दिवाली से पहले पड़ने वाली एकादशी को रमा एकादशी कहा जाता हैं जो श्री हरि विष्णु की पत्नी महालक्ष्मी जी के नाम पर रखा हैं जिन्हें रमा भी कहा जाता हैं इस शुभ एकादशी के बारे में मान्यता हैं कि इस दिन उपवास रखने वाले लोगो पर श्री विष्णु की कृपा बरसती हैं और उसे सभी सुखों की भी प्राप्ति होती हैं
 कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

आपको बता दें, कि हिंदू धर्म में पूजा पाठ का विशेष महत्व होता हैं वही हिंदू धर्म में तिथियों को पांच भागों में बांटा गया हैं उसमें एकादशी को नंदा मतलब की आनंद देने वाली तिथि होने का गौरव प्राप्त हैं। वही एकादशी तिथि को सभी तिथियों में श्रेष्ठ माना जाता हैं इसे हरिवासर भी कहा जाता हैं इस तिथि को श्री हरि विष्णु का दिवस भी कहा जाता हैं। कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

जानिए रमा एकादशी का महत्व—
वही कार्तिक मास में दिवाली से पहले पड़ने वाली एकादशी को रमा एकादशी कहा जाता हैं जो श्री हरि विष्णु की पत्नी महालक्ष्मी जी के नाम पर रखा हैं जिन्हें रमा भी कहा जाता हैं इस शुभ एकादशी के बारे में मान्यता हैं कि इस दिन उपवास रखने वाले लोगो पर श्री विष्णु की कृपा बरसती हैं और उसे सभी सुखों की भी प्राप्ति होती हैं वह सभी पापों से मुक्ति होते हुए अंत में मोक्ष को प्राप्त करता हैं। कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

एकादशी का व्रत करने के लिए ऋषिों ने पांच ज्ञानेंद्रियां, पांच कर्मेंद्रियां और एक मन, इन ग्यारह को नियंत्रण में रखकर, ईश्वर स्मरण करते हुए एकादशी का व्रत करना चाहिए। इस उपवास को करने वाले मनुष्य को सुबह जल्दी स्नान ध्यान के बाद भगवान श्री विष्णु, महालख्मी और तुलसी की विशेष रूप से पूजा करनी चाहिए। कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

रमा एकादशी व्रत का मुहूर्त—
रमाएकादशी व्रत प्रारंभ
24 अक्टूबर
रमा एकादशी पारणा तिथि
25 अक्टूबर
रमा एकादशी पारणा मुहूर्त
6:27 से 08:42
अवधि
दो घंटे 14 मिनट कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

कार्तिक मास में दिवाली से पहले पड़ने वाली एकादशी को रमा एकादशी कहा जाता हैं जो श्री हरि विष्णु की पत्नी महालक्ष्मी जी के नाम पर रखा हैं जिन्हें रमा भी कहा जाता हैं इस शुभ एकादशी के बारे में मान्यता हैं कि इस दिन उपवास रखने वाले लोगो पर श्री विष्णु की कृपा बरसती हैं और उसे सभी सुखों की भी प्राप्ति होती हैं कल से शुरू हो रही है महालक्ष्मी की पूजा

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