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माथे की लकीरों में छिपे हैं राज

जयपुर। हम सभी के माथे पर रेखाएं बनती है। जिनका अध्ययन करने से भविष्य के बारे मे कई बातों को जाना जा सकता है। ज्योतिष के अनुसार माथे पर शनि, गुरु, मंगल, सूर्य, शुक्र, बुध और चंद्र सात ग्रहों की सात रेखाएं होती हैं। ऐसे में माना जात है की अगर मस्तक की तीन स्पष्ट
माथे की लकीरों में छिपे हैं राज

जयपुर। हम सभी के माथे पर रेखाएं बनती है। जिनका अध्ययन करने से भविष्य के बारे मे कई बातों को जाना जा सकता है।  ज्योतिष के अनुसार माथे पर शनि, गुरु, मंगल, सूर्य, शुक्र, बुध और चंद्र सात ग्रहों की सात रेखाएं होती हैं। ऐसे में माना जात है की अगर मस्तक की तीन स्पष्ट रेखा अखंडित रेखाएं हों, तो मनुष्य धनवान और संपन्न होता है।

माथे की लकीरों में छिपे हैं राज

  • ज्योतिष के अनुसार अगर मनुष्य का ललाट ऊंचा-नीचा होता है तो लोगो को दरिद्रता का जीवन जीना पड़ता है।
  • अगर हंसते समय दोनों भृकुटियों के मध्य में खड़ी रेखाएं बनती है, तो ऐसे लोग दयावान, धर्मात्मा एवं सात्विक गुण सम्पन्न होते है।
  • माथे में अगर त्रिशूल, उर्ध्व रेखाएं, स्वस्तिक का निशान बनता है तो सर्वगुण संपन्न, धन, पुत्र और स्त्री सुख मिलता है।

माथे की लकीरों में छिपे हैं राज

  • अगर किसी के माथे में सर्पाकार रेखा या दोनों आंखों के बीच में सीधी खड़ी रेखा बनती है तो ऐसा व्यक्ति अच्छा वक्ता, बलवान और सुंदर होता है।
  • अगर माथे में  शनि और गुरु की रेखाएं ऊपरी भाग में अर्ध चंद्राकार की आकृति बना रही है तो सूर्य और चंद्र रेखाओं के परस्पर संयोग के कारण व्यक्ति सौभाग्यशाली होता है।

माथे की लकीरों में छिपे हैं राज

  • अगर माथे में चार अखंडित रेखाएं हैं, तो व्यक्ति की आयु 95 वर्ष होती है। अगर माथे में अखंडित रेखा जो कानों तक लंबी हो तो व्यक्ति की आयु 100 वर्ष होती है।
  • अगर मस्तक में बहुत छोटी और छिन्न-भिन्न कई सारी रेखाएं है, तो व्यक्ति जीवन में अनेक प्रकार के दुःखों को भोगता है।
  • अगर किसी के माथे में मात्र एक गहरी धनुषाकार रेखा है, तो ऐसा व्यक्ति पर्यटनशील होता है।

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