जानिए क्यों होती है स्तनधारियों की तुलना में पक्षियों की उम्र ज्यादा
जयपुर। हमारे पालतु जानवरों में कुत्ता, बिल्ली और खरगोश भी आते है और तोतो,कबूतर और चिडियां भी आती है। लेकिन क्या आप जानते है कि इनमें से कुत्ता, बिल्ली और खरगोश, तोतो,कबूतर और चिडियां की तुलना में कम जीते हैं। वैज्ञानिक बताते है कि पक्षी अक्सर 20 से 80 साल तक जीवित रह सकता है जबकि कुत्ते और बिल्ली केवल 20 साल तक जी सकते हैं। शोधकर्ताओं ने इस बात का पता लगाने के लिए पक्षियों और स्तनधारियों में आॅक्सीडेटिव तनाव की जांच के साथ ही शरीर के आकार में बदलाव की भी जांच की। आॅक्सीडेटिव तनाव मनुष्य में तो शराब के उपयोग,धूम्रपान और कुछ दवाओं के माध्यम से बनता है। यही तनाव पशु-पक्षियों में भी पाया जाता है। जिसमें कोशिका झिल्ली का स्थिर करने के लिए कोषिकाएं अधिक ऊर्जा का उपयोग करती है। यह तनाव जल्दी उम्र बढ़ने की प्रक्रिया को पूरा करता है। शोधकर्ताओं ने शोध के बाद पाया कि स्तनधारियों की तुलना में पक्षियों में ऊर्जा की खपत, एंटीआॅक्सिडेंट और लिपितड के टूटने की सेलुलर दर काफी कम थी। इसका मतलब ये हुआ कि स्तनधारियों उम्र बढ़ने का कारण आॅक्सीडेटिव तनाव होता है। लेकिन पक्षी इस समस्या से कम परेषान होते हैं। इसलिए ऐसा होता है कि पक्षी कभी-कभी स्तनधारियों से अधिक समय तक जीवित रहते हैं यहां तक कि वो अपनी उम्र से भी ज्यादा तक जीवित रह सकते हैं। वैज्ञानिक उनमें लंबे जीवनकाल का कारण आॅक्सीडेटिव तनाव की कमी को मानते हैं। इसलिए कहा जाता है कि तनाव मनुष्य हो या फिर जानवर उनकी उम्र को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।