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इन समस्याओं को भूलकर भी ना करें नजरअंदाज, हो सकती हैं हार्ट स्ट्रॉक का संकेत

व्यस्तता औऱ अनियमित जीवनशैली के कारम लोग अकसर थकान, तनाव और चिंता का शिकार हो जाते हैं। औऱ अगर सही समय पर उपयुक्त उपाय ना सुझाए जाए तो कई प्रकार की घातक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। विशेषज्ञों की मानें तो, इस प्रकार की समस्याएं सीधा हृदय और मष्तिष्क को प्रभावित करती हैं।
इन समस्याओं को भूलकर भी ना करें नजरअंदाज, हो सकती हैं हार्ट स्ट्रॉक का संकेत

व्यस्तता औऱ अनियमित जीवनशैली के कारम लोग अकसर थकान, तनाव और चिंता का शिकार हो जाते हैं। औऱ अगर सही समय पर उपयुक्त उपाय ना सुझाए जाए तो कई प्रकार की घातक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। विशेषज्ञों की मानें तो, इस प्रकार की समस्याएं सीधा हृदय और मष्तिष्क को प्रभावित करती हैं। आंकडो की मानें तो विश्वभर में हार्ट स्ट्रोक के मरीजों की संख्या दिन पर दिन तेजी से बढ़ रही है। औऱ चौंकाने वाली बात यह है कि लोगों को इसके संकेतों का पता ही नहीं चल पाता। इसिलए आज हम आपको बताने हार्ट स्ट्रॉक से पहले शरीर में होने वाले बदलाव और इसके लक्षणों के बारे में बताने जा रहे हैं-

शरीर सुन्न होना

हार्ट स्ट्रॉक के शुरुआती लक्षणों में से एक है शरीर का सुन्न होना। इसके तहत शरीर से ऊर्जा खत्म हो जाती है और आप हिल नही पाते। इसके तहत आपको अपने शरीर के हिस्सों को महसूस नहीं कर पाते। इस दौरान खून का प्रवाह रुक जाता है, जिसके कारण यह समस्या पैदा होती है।

चेहरे का टेढ़ा होना

जब कभी आपको को दिमागी बीमारी होती है तो आपके चेहरे पर सीधा प्रभाव पड़ता है। इससे आपके चेहरे पर नकारात्मक बदलाव देखने को मिलते हैं। इससे चेहरे का एक हिस्सा टेढा हो जाता है। आपका मुंह और आपका दिमाग भी इससे प्रभावित होता है।

सीने में दर्द

हार्ट स्ट्रॉक के गंभीर संकेतों में सीने में दर्द भी शामिल है। हालांकि कई बार लोग इसे गैस का दर्द समझकर नजरअंदाज कर देते हैं। लेकिन बता दें कि इस समस्या को लेकर कभी भी लापरवाह नहीं होना चाहिए। इसलिए जितना जल्दी हो सके चिकित्सकीय परामर्श करना बेहतर रहता है।

जुबान का हकलाना औऱ लड़खड़ाना

हार्ट स्ट्रोक के दौरान आपकी जुबान और बोली पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है क्योंकि इसका नियंत्रण आफके दिमाग पर होता है। अकसर स्ट्रोक के कारण स्पीच मसल्स पैरालाइज हो जाता है और बोलने की बहुत कोशिश करने पर भी आवाज नहीं निकल पाती।

धुँधला दिखाई देना

आपके शरीर के सभी अंग दिमाग और हृदय के नियंत्रण में होते हैं। इन्हीं में शामिल है इंसान की आंखें। बता दें कि हार्ट स्ट्रॉल के कारण आंखों की रौशनी भी प्रभावित होती है। दरसअल, हृदय की कोई भी समस्या होने पर सीधा प्रभाव आपके दिमाग पर पड़ता है और रेटीन कमजोर पड़ने लगता है जिससे आंखों में धुंधला पन आने लगता है।

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