दिवाली के दिन इस शुभ मुहूर्त में करें महालक्ष्मी की पूजा
आपको बता दें कि धन वैभव की देवी महालक्ष्मी की आराधना को समर्पित दिवाली का पर्व इस साल 27 अक्टूबर यानी की रविवार को मनाया जाएगा। यह हर साल कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाई जाती हैं। वही इस दिन विधि विधान से महालक्ष्मी, श्री गणेश, कुबेर और देवों के राजा इंद्र की पूजा अर्चना की जाती हैं वही महालक्ष्मी प्रसन्न होकर अपने भक्तों की सभी परेशानियों को दूर करती हैं वही धन, संपदा, वैभव, ऐश्वर्य से उसके जीवन को भर देती हैं वही दिवाली के दिन शुभ मुहूर्त में पूजन करना अधिक शुभदायी माना जाता हैं।
जानिए दिवाली की पूजन सामग्री—
कलावा, रोली, सिंदूर, हल्दी कलश के लिए पानी वाला एक नारियल, एक सूखा नारियल, अक्षत, लक्ष्मी और श्री गणेश के लिए लाल और पीले वस्त्र, पुष्प, पांच सुपारी, लौंग, पान के पत्ते, गाय का घी, कलश, आम के पत्ते, चौकी, हवन कुण्ड, हवन सामग्री, कमल गट्टा। अगरबत्ती, कुमकुम, इत्र, दीपक, रूई, आरती की थाली, कुशा और लाल चंदन। इसके अलावा सूप और डमरू।
जानिए दिवाली मुहूर्त—
रविवार 27 अक्टूबर को दिन में 11:51 बजे से प्रारंभ होकर सोमवार 28 अक्टूबर को दिन में 09:14 बजे तक। वही प्रदोष काल में ही दिवाली मनाई जाती हैं ऐसे में प्रदोष काल 27 अक्टूबर को ही हैं तो दिवाली रविवार को ही मनेगी।
जानिए लक्ष्मी पूजन का मुहूर्त—
प्रदोष काल: शाम 05:19 बजे से 07:53 बजे तक।
महालक्ष्मी प्रार्थना मंत्र—
‘नमस्ते सर्वगेवानां वरदासि हरे: प्रिया।
या गतिस्त्वत्प्रपन्नानां या सा मे भूयात्वदर्चनात्।।’
इंद्र प्रार्थना मंत्र—
‘ ऐरावतसमारूढो वज्रहस्तो महाबल:।
शतयज्ञाधिपो देवस्तस्मा इन्द्राय ते नम:।।’
कुबेर प्रार्थना मंत्र
‘धनदाय नमस्तुभ्यं निधिपद्माधिपाय च।
भवन्त त्वत्प्रसादान्मे धनधान्यादि सम्पद:।।’