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जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेत

देवी शक्ति के सभी रूपों की पूजा अर्चना नवरात्रि में करना बहुत ही शुभ माना जाता हैं,वही इस बार चैत्र की नवरात्रि 6 अप्रैल से आरम्भ हो चुकी हैं वही आपको बता दें,कि यह पर्व देवी के सभी रूपों की पूजा अर्चना और आराधना के लिए बहुत ही खास और शुभ माना जाता हैं। वही
जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेत

देवी शक्ति के सभी रूपों की पूजा अर्चना नवरात्रि में करना बहुत ही शुभ माना जाता हैं,वही इस बार चैत्र की नवरात्रि 6 अप्रैल से आरम्भ हो चुकी हैं वही आपको बता दें,कि यह पर्व देवी के सभी रूपों की पूजा अर्चना और आराधना के लिए बहुत ही खास और शुभ माना जाता हैं। जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेतवही इस बार की यह नवरात्रि 14 अप्रैल तक चलेंगी। इस साल की शुरूवात में ही आने वाले पहले चैत्र नवरात्रि बहुत ही शुभ माना जाता हैं। वही नौ दिनों तक चलने वाले इस पावन पर्व और त्योहार में सबसे पहले दिन कलश पूजन होता हैं। वही पहले दिन शुभ समय पर और शुभ विधि से कलश की स्थापन कराया जाता हैं। वही यह बहुत ही शुभ होता हैं।जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेत

वही आपको बता दें,कि नवरात्रि में जौ क्यों बौएं जाते हैं, मिट्टी के बर्तन में जौ के बौएं जाते हैं धर्म ग्रंथों के मुताबिक ऐसा माना जाता हैं, कि जब सृष्टि की शुरूवात हुई थी तो पहली फसल जौ की ही हुई थी। यही कारण हैं कि जब भी देवी देवतओं की पूजा की जाती हैं, तो हवन में जौ का प्रयोग ही किया जाता हैं जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेतइससे बहुत ही शुभ और लाभकारी माना जाता हैं। वही साधारण तौर पर नवरात्रि पर बीजे गए जौ 2—3 दिनों में अंकुरित हो जाते हैं, मगर यह न उगे तो भविष्य में समय सही ना रहने का संकेत भी मनुष्य को प्राप्त हो जाता हैं। वही उगने वाला जौ का रंग पीला या फिर आधा हरा हो तो इसका यह अर्थ होता हैं कि आने वाले साल का आधा समय ठीक होगा।जानिए नवरात्रि में क्यों बोए जाते हैं जौं, इनके रंगों से जाने शुभ अशुभ संकेत

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